Nov 222014
 
Shri Hanuman Chalisa with Meaning

श्री हनुमान चालीसा अर्थ सहित !! श्री गुरु चरण सरोज रज,निज मन मुकुरु सुधारि। बरनऊँ रघुवर बिमल जसु,जो दायकु फल चारि। 《अर्थ》→ शरीर गुरु महाराज के चरण कमलों की धूलि से अपने मन रुपी दर्पणको पवित्र करके श्री रघुवीर के निर्मल यश का वर्णन करता हूँ,जो चारों फल धर्म,अर्थ,काम और मोक्ष को देने वाला हे।★ बुद्धिहीन तनु जानिके,सुमिरो पवन-कुमार। बल

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Jun 052014
 

श्री अम्बें जी की आरती सर्वमंगल मांग्लयै , शिवे सर्वार्थसाधिके |शरण्ये त्र्यम्िके गौरी , नारायणी नमोऽस्तुते ॥ जय अम्बे गौरी , मैया जय श्यामा गौरी |तुमको निसदिन ध्यावत , हरि ब्रम्हा शिवरी ॥ जय अम्बे गौरी….. मांग सिंदुर विराजत , टीको मृगमद को | उज्जवल से दोऊ नैना , चन्द्रवदन नीको ॥ जय अम्बे गौरी…..

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